कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने रविवार को कहा कि उनकी पार्टी को उम्मीद है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक व्यापक पोस्ट-लॉकडाउन योजना और एक एग्जिट रोडमैप लाएंगे। तिवारी ने कहा कि कोरोना वायरस के प्रसार का अनुमान लगाने में विफल रही है।
तिवारी ने एक प्रेस वार्ता में कोरोना वायरस टेस्ट की प्रति दिन एक लाख की क्षमता होने के बावजूद 39,000 रेंडम टेस्ट करने की रणनीति पर भी संदेह जताया। उन्होंने कहा कि सरकार समस्या की भयावहता को कम करने की कोशिश कर रही है।
उन्होंने कहा, ‘हमारी जानकारी के अनुसार, भारत में प्रतिदिन एक लाख कोविड-19 टेस्ट करने की क्षमता है, फिर भी केवल 39,000 ही क्यों किए जा रहे हैं। सरकार को जनता को बताना चाहिए कि बड़े पैमाने पर परीक्षण क्यों नहीं किए जा रहे हैं।’
तिवारी ने बताया कि देश केवल 3 लाख आरएनए किट बचा हुआ है और अगर सरकार प्रति दिन 39,000 रैंडम परीक्षण जारी रखती है तो किट एक सप्ताह में समाप्त हो जाएगी। उन्होंने वेंटिलेटर, मास्क और फ्रंट लाइन पर काम कर रहे स्वास्थ्यकर्मियों के लिए की जा रही व्यवस्था के बारे में भी केंद्र से पूछा।
उन्होंने आगे उन चुनौतियों के बारे में बात की जिनसे देश पोस्ट लॉकडाउन का सामना करेगा और कहा कि कांग्रेस को उम्मीद है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक के दौरान लॉकडाउन से बाहर निकलने के लिए व्यापक रणनीति तैयार करेंगे।
प्रधानमंत्री सोमवार को कोरोना वायरस लॉकडाउन को लेकर राज्यों के मुख्यमंत्री के साथ बातचीत करने वाले हैं। कांग्रेस नेता ने कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि बैठक में हम एक अंशांकित और सटीक योजना देखेंगे कि अगले 90 दिनों में केंद्र, राज्यों और जिलों को कोरोना वायरस से निपटने में मदद मिलेगी।