राजस्थान में सियासी संकट के बीच कांग्रेस विधायक दल की बैठक जयपुर के फेयरमोंट होटल में जारी है। बैठक में मौजूद 102 विधायकों ने सर्वसम्मति से मांग की है कि सचिन पायलट को पार्टी से बाहर कर देना चाहिए। समाचार एजेंसी एएनआइ ने इसकी जानकारी दी है। गौरतलब है कि सचिन पायलट समेत उनके समर्थक विधायकों को बैठक में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया थे, लेकिन वे इसमें शामिल नहीं हुए। पायलट खेमे ने साफ कर दिया है कि मुख्यमंत्री हटने तक कोई समझौता नहीं होगा। पायलट समर्थक विधायकों ने फ्लोर टेस्ट की मांग की है। समाचार एजेंसी पीटीआइ के अनुसार राज्य के खाद्य और नागरिक आपूर्ति मंत्री रमेश मीणा ने कहा कि फ्लोर टेस्ट से स्पष्ट हो जाएगा कि अशोक गहलोत सरकार के साथ कितने विधायक हैं।
पूरे राजनीतिक घटनाक्रम पर भाजपा नजर बनाए हुए है। राजस्थान भाजपा अध्यक्ष सतीश पुनिया ने कहा कि कांग्रेस दावा करती रही है कि उनके नेता एकजुट हैं, लेकिन यह स्पष्ट है कि आंतरिक विवाद हैं, जिसके कारण अपमान का सामना करने के बाद सचिन पायलट को पार्टी से अलग होना पड़ा। फिलहाल हम फ्लोर टेस्ट की मांग नहीं कर रहे हैं।
समाचार एजेंसी एएनआइ के अनुसार पुनिया ने कहा, ‘पहली बात तो ये कि ये सरकार जाए ये हमारी कोशिश रहेगी। दूसरा राजस्थान की जनता और लोगों के हित में जो होगा वही किया जाएगा। अगर आवश्यकता पड़ी तो आज दोपहर 12 बजे हम बैठेंगे और वर्तमान राजनीतिक स्थितियों पर चर्चा करेंगे।’
इससे पहले समाचार एजेंसी एएनआइ ने सूत्रों के हवाले से जानकारी दी कि राहुल गांधी और प्रियंका गांधी समेत अन्य नेताओं ने पायलट से कई बार बात की है, लेकिन काफी कम संभावना है कि वह बैठक में शामिल होंगे। एएनआइ ने यह भी जानकारी दी कि कांग्रेस विधायक दल की बैठक सचिन पायलट को संदेश भेजने के लिए बार-बार आयोजित की जा रही है कि अभी भी उनके पास लौटने का समय है। आगे की कार्रवाई को लेकर आज की बैठक के बाद निर्णय लिया जाएगा।
नेतृत्व परिवर्तन के बाद ही कोई समझौता होगा- पायलट समर्थक
जानकारी के अनुसार पायलट समर्थकों ने साफ कर दिया है कि नेतृत्व परिवर्तन के बाद ही कोई समझौता होगा। पायलट और समर्थक विधायकों ने साफ कर दिया कि वे भाजपा में नहीं जा रहे, लेकिन वे गहलोत को नेता मानने को भी तैयार नहीं हैं। पायलट चाहते हैं कि प्रदेश में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को हटाने के साथ ही वित्त एवं गृह जैसे महत्वपूर्ण विभाग उनके समर्थक विधायकों को दिया जाए।
पायलट को दूसरा मौका दे रहे – अविनाश पांडे
वहीं राजस्थान कांग्रेस प्रभारी अविनाश पांडे ने समाचार एजेंसी एएनआइ से कहा है, ‘ हम सचिन पायलट को दूसरा मौका दे रहे हैं, उनसे आज की सीएलपी बैठक में शामिल होने के लिए कहा गया है। आशा है कि आज सभी विधायक आएंगे और नेतृत्व के साथ एकजुटता दिखाएंगे, जिसके लिए राजस्थान के लोगों ने मतदान किया। हम सभी राज्य के विकास के लिए काम करना चाहते हैं।’
पायलट समर्थकों ने गहलोत के दावे को खारिज किया
गौरतलब है कि सोमवार को सीएम अशोक गहलोत के निवास पर विधायक दल की बैठक हुई थी। बैठक के बाद विधायकों को रिजॉर्ट भेज दिया गया था। पार्टी नेताओं ने दावा किया कि इस बैठक में 122 विधायकों में से 106 शामिल हुए। हालांकि, पायलट समर्थकों ने दावे को खारिज कर दिया है। उन्होंने कहा है कि बहुमत विधानसभा में साबित होता है, सीएम आवास पर नहीं। समाचार एजेंसी पीटीआइ के अनुसार कल हुई बैठक में पायलट और 18 विधायक शामिल नहीं हुए। सचिन पायलट ने रविवार को 30 कांग्रेस विधायकों और कुछ निर्दलीय के समर्थन का दावा किया था।
पायलट खेमे ने वीडियो जारी किया
सचिन पायलट के खेमे ने सोमवार को एक वीडियो जारी किया। इस वीडियो में 16 विधायक एक साथ बैठे दिखाई दे रहे हैं। यह वाक्या कांग्रेस विधायक दल की बैठक के कुछ घंटों बाद का है। इस 10 सेकंड के वीडियो को देर रात पायलट के आधिकारिक व्हाट्सएप ग्रुप पर शेयर किया गया। समाचार एजेंसी पीटीआइ के अनुसार वीडियो में, कम से कम 16 विधायक एक साथ बैठे दिखाई दे रहे हैं। हालांकि, वीडियो में पायलट नजर नहीं आ रहे है। वीडियो में छह अन्य लोगों को देखा जा सकता है, लेकिन उनकी पहचान नहीं हो सकी है। वीडियो में दिख रहे कुछ विधायकों में इंद्रराज गुर्जर, मुकेश भाकर, हरीश मीणा हैं। पर्यटन मंत्री विश्वेंद्र सिंह ने वीडियो को कैप्शन के साथ ‘परिवार’ के साथ ट्वीट किया। वहीं लाडनू से विधायक मुकेश भाकर ने ट्वीट कर कहा, ‘कांग्रेस में निष्ठा का मतलब अशोक गहलोत की गुलामी है। यह हमें स्वीकार्य नहीं है।’
फेयरमोंट होटल में दिखे कांग्रेस विधायक
राजस्थान के कैबिनेट मंत्री बीडी कल्ला और कांग्रेस विधायक रामनारायण मीणा, हाकम अली और गोपाल मीणा जयपुर के फेयरमोंट होटल में कसरत करते नजर आए। कल सीएम अशोक गहलोत के आवास पर कांग्रेस विधायक दल की बैठक के बाद विधायकों को होटल में ठहरने के लिए भेज दिया गया था।
बीटीपी ने दोनों विधायकों को व्हिप जारी किया
राजस्थान विधानसभा में दो विधायकों वाली भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) ने अपने विधायकों को तटस्थ रहने और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत या उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट किसी का भी समर्थन न करने को कहा है। इसके अलावा बीटीपी ने अपने विधायकों से राज्य में चल रहे राजनीतिक संकट के दौरान न तो कांग्रेस और न ही भाजपा का साथ देने को कहा है। बीटीपी अध्यक्ष महेशभाई वसावा ने दोनों विधायकों को व्हिप जारी किया। हालांकि, गहलोत खेमा बीटीपी विधायकों को सरकार का समर्थक मानता है। बीटीपी के एक विधायक ने भी कहा है कि सरकार को समर्थन जारी रहेगा।
पायलट के करीबी सूत्रों ने भाजपा में शामिल होने की संभावना से किया इनकार
समाचार एजेंसी पीटीआइ के अनुसार पायलट के करीबी सूत्रों ने उनके भाजपा में शामिल होने की संभावना से इनकार किया है। 200 सदस्यीय राजस्थान विधानसभा में, फिलहाल कांग्रेस के 107 और भाजपा 72 विधायक हैं। सत्तारूढ़ दल को 13 निर्दलीय विधायकों, सीपीएम और भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) के दो-दो विधायकों, और एक राष्ट्रीय लोक दल के विधायक का समर्थन प्राप्त है।
राहुल और प्रियंका समेत कांग्रेस के कई नेता पायलट के संपर्क में
जनाकारी के अनुसार पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और प्रियंका गांधी पायलट के संपर्क में हैं। इनके अलावा अहमद पटेल, पूर्व केंद्रीय वित्त मंत्री पी चिदंबरम और एआइसीसी के महासचिव केसी वेणुगोपाल की भी पायलट के साथ बातचीत हुई है।